तारीख और समय:
- तारीख: 17 सितंबर 2024
- समय: जुलूस सुबह 7 बजे शुरू हुआ, विसर्जन दोपहर 1:30 बजे हुआ।
मुख्य विवरण:
- प्रतिमा और विसर्जन जुलूस:
- 70 फीट ऊंची खैरताबाद गणेश प्रतिमा का विसर्जन जुलूस 17 सितंबर की सुबह करीब 7 बजे शुरू हुआ।
- जुलूस ने सेंसेशन थिएटर, टेलीफोन भवन, इकबाल मीनार और तेलुगू थल्ली फ्लाईओवर से होते हुए पीवीएनआर मार्ग पर पहुंचकर विसर्जन स्थल पर क्रेन नंबर 4 पर आकर समापन किया।
- मुख्यमंत्री और अधिकारियों की उपस्थिति:
- मुख्यमंत्री ए. रेवंत रेड्डी, हैदराबाद सिटी पुलिस और ग्रेटर हैदराबाद नगर निगम (जीएचएमसी) के वरिष्ठ अधिकारियों ने विसर्जन स्थल का निरीक्षण किया।
- मुख्यमंत्री के कार्यक्रम स्थल से चले जाने के बाद, मूर्ति की यात्रा जारी रही और दोपहर करीब 12:15 बजे पीवीएनआर मार्ग पर पहुंची।
- विसर्जन के विशेष क्षण:
- 11 दिवसीय गणेश चतुर्थी उत्सव के समापन पर विशेष पूजा की गई।
- क्रेन ऑपरेटरों ने मूर्ति को धीरे-धीरे उठाया और 1:30 बजे हुसैन सागर झील में विसर्जित किया।
- भक्तों ने भक्ति गीतों के साथ उत्सव का आनंद लिया और जुलूस को देखने के लिए उत्सुकता दिखाई।
- कुछ भक्त विसर्जन के अंतिम क्षणों को करीब से देखने के लिए बैरिकेड्स तोड़कर झील के पास पहुंच गए।
- सुरक्षा और व्यवस्था:
- जुलूस के दौरान और विसर्जन के समय सुरक्षा व्यवस्था के कड़े इंतजाम किए गए थे।
- बैरिकेड्स और ऊंचे सुरक्षा परिधि ने जुलूस को व्यवस्थित रखने में मदद की।
प्रभाव और उत्सव:
- खैरताबाद गणेश प्रतिमा का विसर्जन हैदराबाद में गणेश चतुर्थी उत्सव का एक महत्वपूर्ण हिस्सा है। यह उत्सव भव्य जुलूसों और रंगीन समारोहों के लिए जाना जाता है, जिसमें भक्त अपनी श्रद्धा और उत्साह के साथ भाग लेते हैं।
- विसर्जन के समय, भक्तों का उत्साह और मूर्तियों के प्रति श्रद्धा स्पष्ट रूप से देखा गया, और यह आयोजन शहर की सांस्कृतिक और धार्मिक परंपराओं को जीवंत बनाए रखता है।